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बदबू व सड़ांध में रहने की मजबूरी, ब्रह्मपुरी निवासी नारकीय जीवन जीने को मजबूर

-राजस्थान पत्रिका के अभियान से जुड़े, बताई व्यथा
अजमेर. पिछले दो सालों से मानसून में जलभराव का दंश झेल रहे ब्रह्मपुरी के लोग नारकीय जीवन जीने को मजबूर है। एस्कैप चैनल से गलियों की नाली में घुसे पानी के साथ आईं मछलियां मरने से क्षेत्र में बदबू का आलम है। जलभराव के दौरान गंदे पानी में खड़े होकर रसोई में खाना बनाने व शौचालय का इस्तेमाल नहीं कर पाने की पीड़ा क्षेत्रवासी अभी नहीं भूल पाए हैं।

राजस्थान पत्रिका के ‘ड्रेनेज का बने मास्टर प्लान’ अभियान की कड़ी में स्पीक आउट कार्यक्रम में मंगलवार को क्षेत्रवासियों ने अपनी बात बेबाकी से रखी। ब्रह्मपुरी वासियों ने पत्रिका की ओर से उनकी समस्याएं उठाने पर भी प्रयासों को सराहा।

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Transcript
00:00When he came there last time, he had a meeting
00:04He is saying that he has invested 16 crore rupees
00:06What do you want to say?
00:08First of all, we need to deepen the canals on both sides
00:11Brampuri?
00:12No, the previous canal from Brampuri
00:14which is coming from the escape channel to Shankar Palace
00:18and going ahead from Topdarda
00:20We need to deepen it completely
00:22and make it equal to the level of our Brampuri canal
00:24and make it completely deep
00:27We need to diversify this canal towards Guddan Dhaba
00:33We need to build a wall on one iron bridge
00:36We need to build a crossing on two iron railings

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