कोयबत्तूर@पत्रिका. वरपालयम में कोयबत्तूर झील के पास एक स्थानीय निवासी की भूमि में बैठी एक जंगली हथिनी की मौत हो गई। वन विभाग मृत हथिनी के बच्चे को आसपास के हाथियों के झुंड से मिलाने की कवायद में जुटा हुआ है। हाथी के बच्चे के अकेले होने की जानकारी मिलने पर पता चला कि झुंड में शामिल होने की कोशिश के दौरान मां हथिनी की मौत हो गई। कोयबत्तूर जिला वन अधिकारी जयराज ने कहा हथिनी की मौत का कारण पोस्टमार्टम के बाद ही पता चलेगा। उसकी मौत वन क्षेत्र से एक किलोमीटर दूर निजी भूमि पर हुई है। चूंकि नवबर से फरवरी हाथियों के प्रवास का मौसम है, इसलिए वे आमतौर पर केरल वन क्षेत्र से अनैकट्टी, पेरियानायकन पालयम, मेट्टुपालयम होते हुए भवानीसागर बांध जलग्रहण क्षेत्रों तक जाते हैं और वहां से सत्यमंगलम टाइगर रिजर्व के माध्यम से टेंगू मराहाडा, मुडुमलै और बांदीपुर तक जाते हैं। कोयबत्तूर के पश्चिमी घाट से सटे गांवों में जंगली हाथियों की आवाजाही अधिक रहती है।
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