"Childrens' Lesson: माँ के प्यार की कीमत - A Heartwarming Story!"

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Welcome to our heartwarming children's lesson, "माँ के प्यार की कीमत - A Heartwarming Story!" Dive into a touching tale that demonstrates the immeasurable value of a mother's love. Perfect for kids, this story not only entertains but also teaches important life lessons about gratitude, compassion, and the special bond between a child and a parent. ✨ Gather the family, grab some cozy blankets, and join us for an enchanting journey that will inspire laughter and learning! Don't forget to like, comment, and subscribe for more engaging content for kids that spreads positivity and joy! #MaaKePyar #KidsStories #FamilyFun

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Transcript
00:00एक गाउ में एक गोपा लाम का लड़का उसकी मा के साथ रहता था।
00:07एक बार स्पूल में गनित विशय में उसे जमाखर्च और हिसाव रखने का पाठ पढ़ाया गया।
00:15उस दिन कुछ सोच कर ही वह घर आ गया।
00:19रात कु सोने के समय उसने एक कागज हात में लिया और उस पर कुछ लिख कर उसने अपनी मा के तकिये पर रख दिया और खुद सो गया।
00:33जब पूरा काम करने के बाद मा कमरे में आईं तो उसे यह कागज दिखाई दिया।
00:40मा ने उसे पढ़ना शुरु कर दिया। उस पर लिखा था
00:46मा के लिए किये गए कामों का हिसाब
00:50एक बाजार में जाकर बनिये से तेल लाने का सेवा शुल्क दो रुपए
00:58दो शाम का भोजन करने में मा की मदद करने का सेवा शुल्क तीन रुपए
01:06मा काम करते वक्त छोटी बहन चिंकी को संभालने और उसके साथ खेलने का सेवा शुल्क पांच रुपए
01:17रात सोते समय बिस्तर ठीक ठाक करने का सेवा शुल्क चार रुपए
01:26खुल मिला कर मा से अपेख्षित आए चोदा रुपए
01:32मा ने उस हिसाब की परची को पढ़ा और वह मुस्कराई
01:37उसने सोय हुए गोपाल की तरफ प्यार से देखा और और एक कागस उठाया और उस पर कुछ लिख कर गोपाल के तकिये पर रख दिया
01:52दूसरे दिन गोपाल उठा और उसने उसके तकिये पर रखी हुई परची को देखा उसने उस परची को हाथ में लिया और पढ़ना शुरु कर दिया उस पर लिखा था
02:07गोपाल के लिए किये गए चीजों का हिसाब
02:11एक जन्म के पहले नौ महने पेट में गोपाल को समाला सेवा शुल्क कुछ नहीं
02:20दो बड़ी यातनाईं झेल कर गोपाल को जन्म दिया सेवा शुल्क कुछ नहीं
02:28तीन अपने कलेजे का टुकड़ा समझ कर गोपाल का पालन किया सेवा शुल्क कुछ नहीं
02:384. गोपाल बीमार पढ़ने पर रात-रात जक्कर उसकी देखभाल की उसको दवाई दी सेवा शुल्क कुछ नहीं
02:495. गोपाल को पढ़ा लिखा कर एक अच्छा लड़का बनाने की कोशिश की सेवा शुल्क कुछ नहीं
02:59कुल मिला कर मा की गोपाल से अपिक्षा सिर्फ गोपाल का प्यार
03:05इस परची को पढ़ते पढ़ते गोपाल की आखे भराई उसने मा के लिए लिखी हुई हिसाब की परची खुद फाड दी और मा के पास जाकर उसे आलिंगन दिया
03:19मा ने भी गोपाल के लिए लिखी हुई परची उसके सामने फाड दी और फेड़ दी गोपाल के मन की भावना शब्दों में व्यक्त करने की जरुरत ही नहीं थी पस उसकी आख में आये हुए आशूं इसके लिए काफी थे
03:37तो बच्चों इस कहानी से हमें ये सीख मिलती है कि मा के प्यार की कोई कीमत कोई भी नहीं कर पाता है

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