गठरी में बंधे शव देख परिजन की रूलाई फूटी

  • 4 years ago
गठरी में बंधे शव देख परिजन की रूलाई फूटी

- मेल नर्स का चेहरा तक पहचान में नहीं आया

जोधपुर. बाड़मेर रोड पर लूणावास चारणान गांव के पास बस व कार की भिड़ंत में चार व्यक्तियों की मौत ने न सिर्फ परिजन और ग्रामीण बल्कि पुलिस को भी झकझोर दिया। पुलिस व ग्रामीण हाइड्रा क्रेन की मदद से डेढ़ घंटे की मशक्कत के बाद शव बाहर निकालने की स्थिति में आए तो हाथ रूक गए। चारों शव बुरी तरह क्षत-विक्षत हो चुके थे। हाथ-पांव टूट चुके थे तो चेहरे भी बमुश्किल से पहचान में आ रहे थे। मेल नर्स शंकरलाल के शव की पहचान तक नहीं हो पा रही थी। पुलिस ने ग्रामीणों से कम्बल व चद्दरें मंगवाईं और जैसे-तैसे गठरियों में बांधकर शव एमडीएम अस्पताल की मोर्चरी रवाना किए।
अपनों का इंतजार करते परिजन के निकले आंसू

हादसे का पता लगते ही जोधपुर में मौजूद कुछ परिजन तुरंत अस्पताल के ट्रोमा सेंटर पहुंच गए। काफी देर इंतजार के बाद दो लोडिंग जीप में चारों शव अस्पताल पहुंचे। कम्बल व चद्दरों की गठरियों में बंधे शव देख परिजन की रुलाई फूट गई। ट्रोमा सेंटर के बाहर ही बैठकर जोर-जोर से रोने लगे। साथ आए रिश्तेदारों ने ढांढस बंधाने का प्रयास किया, लेकिन रुलाई नहीं थमी।
चार माह की गर्भवती थी पुत्री

थानाधिकारी परमेश्वरी का कहना है कि श्याम सेन की पुत्री चार माह की गर्भवती थी। गांव में इलाज चल रहा था। जांच के लिए मेल नर्स शंकरलाल को साथ लेकर परिजन जोधपुर आ रहे थे।

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