कोरोनावायरस काल में सत्ता संघर्ष, बच जाएगी Ashok Gehlot की कुर्सी

  • 4 years ago
क्या मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (AshokGehlot) अपनी कुर्सी बचा पाएंगे? क्या भाजपा (BJP) मध्यप्रदेश की तर्ज पर सत्ता परिवर्तन में कामयाब हो पाएगी? या फिर डिप्टी सीएम सचिन राजस्थान की सत्ता के 'पायलट' बन पाएंगे? ऐसे ही कई और भी सवाल हो सकते हैं। लेकिन प्रदेश के इस सत्ता संघर्ष में एक बड़ा प्रश्न दबकर रह गया है। वह यह कि बढ़ते कोरोनावायरस (Coronavirus) संक्रमण के बीच प्रदेश की जनता की चिंता कौन करेगा? हो सकता है अशोक गहलोत अपनी सत्ता बचाने में कामयाब हो जाएं, अभी तक के घटनाक्रम को देखते हुए इसकी ही संभावना ज्यादा दिखाई दे रही है।

यह भी संभव है कि सचिन पायलट ( SachinPilot )अभी नहीं तो कुछ दिन बाद अपनी योजना में सफल हो जाएं, भाजपा भी कांग्रेस मुक्त अभियान की दिशा में एक कदम और बढ़ा दे, लेकिन इन सबकी बढ़त में पिछड़ती जा रही है तो सिर्फ राजस्थान की जनता।

आपको बता दें कि राजस्थान में सोमवार को 95 नए कोरोना संक्रमित मरीज सामने आने के बाद संक्रमितों की संख्या बढ़कर 24 हजार 735 पहुंच गई तथा 4 लोगों की मौत हो गई।

प्रदेश में मौत का आंकड़ा 514 हो गया है, जबकि 5735 कोरोना के एक्टिव मामले हैं।

वर्तमान में चल रहे घटनाक्रम के बीच इस ओर न तो किसी नेता का ध्यान इस ओर है और न ही किसी पार्टी का। अभी तो सब सरकार बचाने और बनाने के काम में ही जुटे हुए हैं।

लग रहा है सचिन का राजनीतिक दांव उलटा पड़ सकता है।

कांग्रेस की बैठक में 106 विधायकों की मौजूदगी इस बात का पुख्ता संकेत है कि गहलोत अपनी सरकार बचाने में कामयाब हो जाएंगे। इस पूरे सियासी संकट को सुलझाने के लिए अब‍ प्रियंका की एंट्री हो गई है। यह भी तय है कि कोरोना के बीच सत्ता की उठापटक में जनता का क्या होगा इसका जवाब फिलहाल किसी के पास नहीं है