आओ कोरोना से लड़ते हैं, आत्ममंथन करते हैं

  • 4 years ago
पूरे देश में कोरोना का कहर के बीच लॉकडाउन जारी है। कोरोना ने हमारी ज़िंदगी में कई चीजों को बदल दिया है। हमारी दिनचर्या में बदलाव आया है, घरों में प्यार का उजियारा आया है। रिश्तों में मिठास आई है और परिवार खिल उठा है। कोरोना के कारण तनाव में हर कोई है, लेकिन कोरोना के लिए सकारात्मक होकर सोचें तो इसने हमें समय दिया है आत्ममंथन का। इसी पर देखिये श्रीमती रजनी महाजन द्वारा रचित यह खूबसूरत कविता "आत्ममंथन"।