Maharashtra में Congress की ‍'दुविधा' से फंसा सरकार का पेंच

  • 5 years ago
महाराष्ट्र में सरकार गठन को लेकर अभी भी पेंच फंसा हुआ है। कांग्रेस ने दुविधा के चलते अभी तक सरकार को समर्थन देने का फैसला नहीं लिया है।
कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा- दोनों पार्टियां मिलकर चुनाव लड़ी थीं। अत: फैसला भी मिलकर ही लेंगी। एनसीपी को समर्थन देने में कांग्रेस को कोई दिक्कत नहीं होगी।
राज्यपाल ने एनसीपी को मंगलवार को रात 8.30 बजे तक का समय दिया है। कांग्रेस ने मंगलवार 12 बजे तक नहीं दी समर्थन की चिट्‍ठी।
एनसीपी नेता अजित पवार ने कहा- एनसीपी और कांग्रेस ने साथ मिलकर चुनाव लड़ा है, इसलिए फैसला भी मिलकर करेंगे।
शिवसेना को लेकर कांग्रेस भले ही दुविधा में हो, लेकिन शिवसेना कुछ खास मौकों पर कांग्रेस को समर्थन दे चुकी है।
1980 में शिवसेना के तत्कालीन सुप्रीमो बाल ठाकरे ने महाराष्ट्र में कांग्रेस के एआर अंतुले को मुख्‍यमंत्री बनाने के लिए समर्थन दिया था।
2007 में राष्ट्रपति चुनाव में मराठी होने के नाते शिवसेना ने प्रतिभा पाटिल का समर्थन किया था। उस समय भाजपा-शिवसेना के बीच गठबंधन था।
प्रणब मुखर्जी की उम्मीदवारी के समय भी शिवसेना ने गठबंधन धर्म से अलग होकर राष्ट्रपति चुनाव में कांग्रेस का समर्थन किया था।
महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव में किसी भी दल को स्पष्ट बहुमत नहीं मिला है। भाजपा को 105, शिवसेना 56, एनसीपी 54 और कांग्रेस को 44 सीटें मिली हैं।
भाजपा और शिवसेना ने मिलकर चुनाव लड़ा था, जबकि कांग्रेस और एनसीपी एक साथ मिलकर चुनाव लड़े थे।
भाजपा और शिवसेना में मुख्‍यमंत्री पद को लेकर शुरू हुई तकरार अन्तत: गठबंधन के टूटने के रूप में सामने आई।

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